मलंगिया महोत्सव पर रिपोर्ट “हम मेघदूत परिसर सँ बाजि रहल छी”

हम मेघदूत परिसर नई दिल्लीसँ बाजि रहल छी।

रामबाबू सिंह मिथिला

विगत 8-9 दिसंबर 2018 कS भारतक सांस्कृतिक मुख्य केंद्र संगीत नाटक अकादमी नई दिल्लीक मेघदूत परिसरमे मलंगिया महोत्सवक विशिष्ट आयोजन धूमधाम सँ सम्पन्न भेल। मैथिली नाटकक शेक्सपियर रूपमे प्रख्यात लेखक नाटककार महेंद्र मलंगियाक नाम पर समर्पित ई कार्यक्रममे जतय एक दिसि मलंगिया जीक द्वारा लिखल विभिन्न नाटकक मंचन भेल ओतय दोसर दिसि मलंगिया जीक व्यक्तित्व वा कृतत्व सहित मैथिली साहित्यक आन आन विधा पर सेहो जमि कS बहस भेल।

कार्यक्रमक शुभारंभ 8 दिसंबर भोर 10.30 बजे मेघदूत सभागारमे भेल। पहिल सत्रमे आदरणीय भीमनाथ झा दरिभंगा आओर मैथिलीक प्रसिद्ध लेखक रंगकर्मी आ अभिनेता रमेश रंजन काठमांडू द्वारा महेंद्र मलंगियाक व्यक्तित्व वा कृतत्व पर विमर्श भेल। तकर बाद दू दिन धरि चलल विभिन्न सत्रमे मैथिलीक लोक सँस्कृति, लोकगीत लोक संगीतक संगहि प्रवासी जीवनमे मैथिली आ मिथिलाक लोक परंपराक स्थिति, मैथिलीक आलोचनाक स्थिति, आदि इत्यादि पर सेहो गहन विमर्श रचनाकार, साहित्यकार आओर संस्कृतिकर्मी लोकनि कएलाह। जाहिमे आदरणीय कुणाल, डॉ रामानंद झा रमन, वरिष्ठ कथाकार अशोक, वरिष्ठ कथाकार आओर आलोचक डॉ तारानंद वियोगी, तहिना काठमांडू सँ प्रसिद्ध लेखक आ संचारकर्मी धीरेंद्र प्रेमर्षि, रूपा झा, रमेश रंजन, प्रवीण नारायण चौधरी, मधुबनी सँ वरिष्ठ कवि आलीचक अजित आजाद, ऋषि वशिष्ठ, दरिभंगा सँ महेंद्र नारायण राम, कथाकार कवि विभूति आनंद सहरसा सँ प्रसिद्ध लेखक कवि डॉ राम चैतन्य धीरज, डॉ कमल मोहन चुन्नू, प्रसिद्ध संस्कृतिकर्मी आ लेखक किसलय कृष्ण सहित दिल्ली परिसरमे रहि रहल डॉ प्रकाश झा, मानव शास्त्री कैलाश कुमार मिश्र, कश्यप कमल, अभिषेक देब नारायण आदि इत्यादि प्रसिद्ध व्यक्तित्व सब सत्रक विमर्श आ बहसमे भाग लेलनि, जे मैथिली साहित्य आ सांस्कृतिक क्षेत्र लेल एकटा सकारात्मक पहल अछि।

एकर संगहि दुनु दिन सांझमे क्रमशः नाटकक प्रस्तुति भेल। पहिल दिन जतय मैलोरंग नई दिल्ली द्वारा महेंद्र मलंगिया द्वारा लिखित प्रकाश झा निर्देशित नाटक “ओरिजिनल काम” केर सफल मंचन रहल। तहिना अमर जी राय केर निर्देशनमे अछिन्जल द्वारा महेंद्र मलंगिया लिखित “नशबंदी” एकांकिक मंचन भेल। गौरव झा द्वारा कएल गेल मूक अभिनय आकर्षणक केंद्र रहल। दोसर दिन अछिन्जल द्वारा प्रस्तुति मिथिलाक नारीक उद्गार, गामक नारी द्वारा मिथिलाक विभिन्न लोक नृत्य लोक नाटकक मंचीय प्रस्तुति सेहो आकर्षनक केंद्र रहल। महेंद्र मलंगिया लिखित चर्चित नाटक बारह मासाक मंचन भेल जेकर निर्देशन राष्ट्रीय स्तरक चर्चित रंगकर्मी सुमन कुमार द्वारा कएल गेल। ओना त’ अहिसँ पहिने मंचन भेल बारह मासाक प्रस्तुतिक समक्ष ई कनि कमजोर लागल। तैयो राष्ट्रीय स्तर पर आ सेहो हिन्दीमे अभिनीत अहि आयोजनक एकटा महत्वपूर्ण पक्ष मानल जा सकैत अछि। पहिल दिन सांझमे कवि सम्मेलनक आयोजन सेहो कएल गेल जाहिमे सर्वश्री रमन कुमार सिंह, मनीष झा बौआ भाइ, कुमकुम झा, रूपा झा, आदित्य भूषण मिश्र, सुशांत अवलोकित, मणिकांत जी, डॉ संजीत झा सरस संगहि शंकर मधुपांश, मोहन राज, धर्मवीर स्वयं हम आ अजित जी सब अपन काव्य पाठ कS समारोहकेँ सफल बनेलाह।

मलंगिया फाउंडेसन द्वारा आयोजित आ कुशल रंगकर्मी ऋषि मलंगियाक संयोजनमे राष्ट्रीय राजधानी दिल्लीमे साहित्य सांस्कृतिक गतिविधि हेतु ई आयोजन ऑक्सीजन सिद्ध भेल अछि। आवश्यकता अहि आयोजनमे जतेक विमर्श आ बहस भेल ओकरा साकारात्मक लैत हम सब आगा बढ़ी। आयोजनमे अरिपन प्रतियोगिता सेहो एकटा महत्वपूर्ण पक्ष रहल। आओर राष्ट्रीय राजधानीक कोण-कोण सँ साहित्यकर्मी, सांस्कृतिकर्मी आ मैथिली प्रेमीक उपस्थिति सब तरहेँ सफल बनओलक आ अहि तरहेँ 9 दिसंबर रातिमे तेसर मलंगिया महोत्सवक सफल समापन भेल।

जयमिथिला || जयमैथिली || जयजय मिथिलाक्षर