साहित्य अकादमी मे अगिला मैथिली प्रतिनिधिक ताजपोशी हेतु तिकड़मबाजी फेर अछि आरम्भ

समाचार-साभारः मैथिल पुनर्जागरण प्रकाश

साहित्य अकादमी मे अगिला मैथिली प्रतिनिधिक ताजपोशी हेतु तिकड़मबाजी फेर अछि आरम्भ

( पूर्व संयोजक रहल डॉ. वीणा ठाकुर केँ एहि बेर फेर सँ कुर्सी थम्हेबाक भ’ रहल प्रयास )

नव दिल्ली | कार्यालय समदिया

पूस मास आरम्भ अछि आ मिथिला मे एकरा खरमास कहल जाइत अछि । कोनो शुभ काज नहि होइत अछि, मुदा मैथिली साहित्यिक जगत मे ई मास अबिते बेस हलचल आरम्भ भ’ जाइत अछि । ओना तँ ई हलचल सभ साल होइत अछि, मुदा प्रत्येक पाँच साल पर ई आर बेसी बढ़ि जाइत अछि आ तकर कारण थिक भारत सरकारक साहित्य अकादमी मे मैथिली परामर्शदातृ समितिक नव प्रतिनिधि आ सदस्यगणक चयन । से एहू बेर डॉ. अशोक अविचल’क नेतृत्व वला परामर्शदातृ समितिक कार्यकाल समाप्त भ’ रहल अछि, से सूत्रक अनुसार नव संयोजक (प्रतिनिधि)क चयन प्रक्रिया एहि सप्ताह राष्ट्रीय राजधानी मे होयबाक अछि आ एहि कारण सँ स्वाभाविक रूपेँ हलचल बढ़ल अछि ।

ओना तँ विगत कैक महीना सँ साहित्य अकादमी सँ सम्बद्ध संस्था सभ द्वारा संभावित संयोजक लेल विभिन्न नाम सँ अकादमी केँ भेजल जयबाक पुष्ट-अपुष्ट जनतब मैथिलीक साहित्यिक परिदृश्य मे पसरल अछि आ ताहि मे विभिन्न सूत्र सभक मानब छन्हि जे वर्तमानक परामर्शदातृ समिति सँ पूर्वक कार्यकाल मे संयोजक रहलि डॉ. वीणा ठाकुर’क नाम सात मे सँ बेसी संस्था द्वारा भेजल वा भेजबाओल गेल अछि, जखनकि हिनक कार्यकाल विभिन्न निर्णय ल’ कय विवादित तँ रहले अछि, वर्तमानक समिति पर सेहो हुनक पूर्ण प्रभाव होयबाक गप्प चलैत आबि रहल अछि । तकर कैकटा ज्वलन्त उदाहरण सेहो चलैत आबि रहल अछि ।

अपन कार्यकालक तुरन्त बाद साहित्य अकादमी पुरस्कार पाएब सँ ल’ कय पारिवारिक सदस्य केँ साहित्य अकादमीक अनुवाद काज प्रदान करब आ तिकड़मबाजी सँ अनुवाद पुरस्कार देब, वर्तमान पंचवर्षीय काल मे अधिसंख्य सेमिनारक विशिष्ट अतिथि आकि बीजभाषण प्रस्तोता रूप मे संलग्नता एहने उदाहरण सभ अछि आ एहि सभ विन्दु पर लगातार विवाद उठैत रहल अछि ।

तखन प्रश्न उठैत अछि जे एहेन विवाद मे रहल लोकक नाम मैथिलीसेवी संस्था सभ द्वारा अकादमी केँ संभाव्य सूची मे किएक पठाओल गेल ? एकटा संस्था तँ स्वयं डा. ठाकुरक पारिवारिक अछि, जकरा हिनके कार्यावधि मे अकादमीक संबद्धता देल गेल, तँ दोसर एकटा संस्था वर्तमानक संयोजक संबद्ध करबौलनि । संगहि मैथिलीक एकटा वरिष्ठ साहित्यकार कहलन्हि जे नाम भेजबाक लेल किछु संस्था पैसाक लेन देन सेहो करैत अछि ।

मैथिली मे प्रबुद्ध, तटस्थ आ अँखिगर लेखक-कविक कमी नहि अछि, मुदा विभिन्न संस्था सभ द्वारा हुनका सभ केँ छोड़ैत कोनो विवादित आ गिरोहबाज लोकक हाथ मे मैथिली साहित्यक कमान देबाक अनुशंसा कतेक उचित अछि, से संस्था सभक पदाधिकारी लोकनि कहताह, मुदा सूत्र सभक अपुष्ट जानकारी कहैत अछि, जे वर्तमान संयोजक डा. अविचल सेहो डा. ठाकुर केँ गद्दी घुरेबाक तिकड़म मे भीड़ल छथि । ओना किछु महत्वपूर्ण नामक अपुष्ट सूचना सेहो भेटि रहल अछि संभावित सूची मे रहबाक । आब देखा पर चाही जे मैथिली साहित्य एहि राष्ट्रीय अकादमी मे गिरोह सँ मुक्त होइत अछि आकि तिकड़मबाजी सँ फेर कोनो एहने अयोग्य आ विवादित लोक केँ सौंपल जाइत अछि गद्दी । ओना एहि मे वर्तमानक संयोजक डा. अविचलक भूमिका सेहो महत्वपूर्ण मानल जा रहल अछि ।

की अकादमीक सचिव के श्रीनिवासन राव सेहो छथि प्रभाव मे ?

विभिन्न सूत्र सँ अपुष्ट जनतब भेटल अछि जे उक्त तिकड़मबाज ग्रूप द्वारा साहित्य अकादमी मे सचिव के. श्रीनिवास राव केँ सेहो अपन प्रभाव मे रखबाक विभिन्न उपाय सभ कयल जाइत रहल अछि । विगत किछु मास पहिने दरभंगा मे आयोजित एकटा सेमिनार मे सम्मिलित होयबाक ले डा. राव सपत्नीक दरभंगा पहुँचल रहथि आ एहि अवधि मे पूर्व संयोजक डॉ. ठाकुर’क आतिथ्य सेहो ग्रहण कयने रहथि आ ठाकुर परिवार दिसि सँ मिथिलाक रीति अनुसार हिनका सभक विदाइ सेहो कयल गेल छल ।

मिथिला मे आतिथ्य ग्रहण करब, संस्कृति अनुसार विदाइ सभ तँ नीक आ प्रशंसनीय डेग थिक, मुदा ताहि प्रभाव मे आबि मैथिली साहित्यक बागडोर ककरो हाथ मे सौंपि देब डा. राव सन प्रबुद्ध लोक करताह से असम्भव सन लगैत अछि । तखन परिणाम तँ किछुए दिन मे सोझाँ आबयवला अछि !