विराटनगर, ६ जुलाई २०१९. मैथिली जिन्दाबाद!!
मैथिलीक वरिष्ठ अभियानी एवं वर्तमान नेपालक प्रखर बुद्धिजीवी राजनीतिकर्मी राम रिझन यादव केर स्वर्गीय माता जगियादेवी लेल विराटनगर केर सागरमाथा पार्टी पैलेस मे एक श्रद्धाञ्जली सभाक आयोजन आइ कयल जायत। माता जगिया देवी हालहि आषाढ ८ गते यानि जून २३ तारीख मे ९० वर्षक अवस्था मे स्वर्गवासी भेल छलीह। परम्परावादी सोच सँ अलग विचारधाराक प्रखर पृष्ठपोषक नेता आ विचारक श्री राम रिझन यादव माताजीक श्राद्धकर्मक अवधि केँ मात्र चारि दिन मे पूरा करबाक कार्य कयलनि। परञ्च हुनक ग्रामीण समाज (सिरहा जिला) मे एहि तरहें स्थापित परम्पराक विरोध केँ स्वीकार नहि कय श्राद्धकर्म मे हिस्सा नहि लेलकनि, जे समाचार मीडिया मे प्रकाशित भेल छल। विदित हो जे श्री यादव नहि केवल श्राद्ध मे बल्कि विवाहक बेर मे सेहो सभारूपी आयोजन मार्फत अपनहि बचियाक विवाह करा चर्चा मे आयल छलाह। अपन मातृभाषा मैथिली लेल हिनक अपूर्व सेवा संग-संग नेपाल मे मधेशी जनसमुदाय केर उत्पीड़न विरुद्ध हिनक राजनैतिक संघर्ष सँ पूरा नेपालदेश परिचित अछि। मैथिली जिन्दाबाद केर संपादक प्रवीण नारायण चौधरी कहैत छथि जे विराटनगर मे मैथिली गतिविधि आ संचारकर्म केँ जाहि लगन आ श्रम सँ प्राध्यापक राम रिझन यादव स्थापित कयलनि ओ अमर अछि आर हमरा सभक लेल अनुकरणीय सेहो अछि। नेपालक पूर्व प्रधानमंत्री डा. बाबूराम भट्टराईक प्रेस सलाहकारक रूप मे सेहो अपन योगदान राष्ट्रसेवा मे देनिहार राम रिझन यादव द्वारा ९० वर्षीया वृद्ध माता केँ अन्तिम समय मे कयल गेल सेवा सेहो अलग स्थान रखैत अछि। अपन व्यस्ततम् जीवन केर अन्य सब काज छोड़ि श्री यादव माताक सेवा लेल स्वयं सपरिवार हाजिर भऽ विराटनगर निवास मे आबिकय कइएक मास सेवारत भाव मे बितौलनि। वास्तव मे मरि गेलाक बाद मृतात्माक चिर शान्ति लेल कर्मकाण्डीय विधि सँ श्राद्ध करब लोकक अपन श्रद्धा आ विवेक पर निर्भर करैत अछि, लेकिन एक विवेकवान सपूत लेल त माता-पिता केर जीवनकाल मे देल गेल सेवा आ हुनका लोकनि प्रति समर्पणक विशेष महत्व अछि। एहि सँ पहिने करीब सात वर्ष पूर्व अपन पिताक निधनोपरान्त सेहो श्री यादव एहि तरहें कुल ४ दिन मे श्राद्धकर्म पूरा कएने छलाह। श्राद्धक भोज पर कयल जायवला खर्चा बरोबरि रकम गामहि केर विद्यालयक विकास कार्य हेतु अक्षय कोष स्थापना जानकी विश्वनाथ प्रतिष्ठान दर्ता करबैत २ लाख टका सँ कयलनि अछि। माध्यमिक विद्यालय सन्हैठा सँ एसईई पास केला उत्तर उच्च शिक्षा लेल २ गोट छात्र केँ छात्रवृत्ति पिताक मृत्यु उपरान्तहि सँ पूर्वकथित प्रतिष्ठान द्वारा कयल जाइत रहल अछि।