कविचन्द्र विरचित मिथिलाभाषा रामायण – लङ्काकाण्ड चारिम अध्याय
स्वाध्याय
- प्रवीण नारायण चौधरी
कविचन्द्र विरचित मिथिलाभाषा रामायण
- लङ्काकाण्ड चारिम अध्याय
।सवैया छन्द।
बाँधल भेल बाँध वारिधि मे, दशवदनक विजयक मन काज ॥
शिवरामेश्वर तत संस्थापन, कयल सविधि...
आत्मशान्ति – कियैक आ केना ?
अत्यन्त मननीय लेख
आत्मशान्ति - कियैक आ केना ?
हरेक मानव केँ आत्मशान्तिक अभिलाषा रहैत छैक । ओना त आत्मशान्ति आत्माक स्वभावहि मे निहित छैक, मुदा...
कविचन्द्र विरचित मिथिलाभाषा रामायणः लङ्काकाण्ड – तेसर अध्याय
स्वाध्याय
- प्रवीण नारायण चौधरी
कविचन्द्र विरचित मिथिलाभाषा रामायण
लङ्काकाण्ड - तेसर अध्याय
।हरिपद छन्द।
नाम विभीषण जन कहइत छथि, दशमुख - सोदर - भाय ।
चरण - शरण मे...
संस्मरण संग सन्ततिप्रति सन्देश
लेख-विचार
- प्रवीण नारायण चौधरी
पिता सँ पुत्र धरि
आइ 'काका' (पिताजी) केँ फेर सँ मोन पाड़ि रहल छियनि । पितृपक्ष मे पितर प्रति सम्मोहन कोनो नव...
कविचन्द्र विरचित मिथिलाभाषा रामायण – लङ्काकाण्ड दोसर अध्याय
स्वाध्याय
- प्रवीण नारायण चौधरी
कविचन्द्र विरचित मिथिलाभाषा रामायण
लङ्काकाण्ड - दोसर अध्याय
।चौपाइ।
रावण मन मन कर अनुमान । लङ्का डाहि गेल हनुमान ॥
बड़ आश्चर्य कहू की आन...
मोहनाक भाग्योदय – किशोरावस्था आ युवावस्थाक मैथिल लेल सन्देश
कथा
- प्रवीण नारायण चौधरी
मोहनाक भाग्योदय
मोहना किशोरावस्था सँ अति-कुशाग्र आ तीक्ष्ण बुद्धिक प्रदर्शन लेल चारूकात जानल जाय लागल छल । पूर्व-वर्णित कथा जाहि मे शहरी...
चिन्ता आ चिन्तनक एक पुष्प ‘हिन्दी’ मेः हाल-ए-मिथिला अब ऐसा है
लेख-विचार
- प्रवीण नारायण चौधरी
हाल-ए-मिथिला अब ऐसा है
यूँ कहें कि मिथिलाकी हाल अब ऐसा ही है । तो है कैसा ? है ऐसा कि हमारे...
बड़का भैयाक पत्र पर छोट भाइक जवाब – प्रसंग टेढ़ी मे बर्बाद होइत मिथिलाक...
बड़का टेढ़ भाइ केँ छोटका टेढ़ भाइक खुल्ला चिट्ठी
नवाबगंज, नई दिल्ली - १ ।
दिनांकः ०९/०९/२०२४ ।
आदरणीय बड़का भाइजी,
कुशल संग कुशलाभिलाषी!
अहाँक पत्र भेटल । सब...
मैथिली कथाः मोहनाक जीत
मैथिली कथा
- प्रवीण नारायण चौधरी
मोहनाक जीत
पोखरी महाड़ पर बच्चा सभक भीड़ लागि गेल रहय । शहरक स्कूल मे पढ़य वला एकटा गामहिक काका बेटा...
गुरू के रंग मे रांगि गेला सँ चमक जग मे पसरि जैत छै
लेख विचार
प्रेषित: कीर्ति नारायण झा
श्रोत: दहेज मुक्त मिथिला समूह
लेखनी के धार ,बृहस्पतिवार साप्ताहिक गतिविधि
विषय : मनुष्य के जीवन मे गुरू केर कि महत्त्व अछि...